5+ Poem on Friendship in Hindi - दोस्ती पर कविता

5+ दोस्ती पर कविता - Poem on Friendship in Hindi
Poem on Friendship in Hindi - 5+ दोस्ती पर कविता

Hindi Poem on Dosti – ‘मैं यादों का पिटारा खोलू तो’

मैं यादों का पिटारा खोलू तो,
कुछ दोस्त बहुत याद आते है।

मैं गांव की गलियों से गुजरू
पेड़ की छांव में बैठू तो,
कुछ दोस्त बहुत याद आते है।

वो हंसते मुस्कुराते दोस्त
ना जाने किस शहर में गुम हो गए,
कुछ दोस्त बहुत याद आते है।

कोई मैं में उलझा है तो कोई तू उलझा है
नहीं सुलझ रही है अब इस जीवन की गुत्थी,
अब दोस्त बहुत याद आते है।

जब मैं मनाता हूं कोई त्यौहार
तो हंसते गाते दोस्त नजर आते है,
लेकिन अब तो होली, दिवाली भी मिलना नहीं होता।

कोई पैसा कमाने में व्यस्त है
तो कोई परिवार चलाने में व्यस्त है
याद करता हूं पुराने दिन तो
कुछ दोस्त बहुत याद आते है।
इंस्पायर्ड बाय – डॉ हरिवंश राय बच्चन

“Hindi Poem on Dosti – दोस्ती क्या हैं?

क्या खबर तुमको दोस्ती क्या हैं,
ये रोशनी भी हैं और अँधेरा भी हैं,
दोस्ती एक हसीन ख़्वाब भी हैं,
पास से देखो तो शराब भी हैं,

दुःख मिलने पर ये अजब भी हैं,
और यह प्यार का जवाब भी हैं,
दोस्ती यु तो माया जाल हैं,
इक हकीकत भी हैं ख़याल भी हैं,

कभी जमीं कभी फ़लक भी हैं,
दोस्ती झूठ भी हैं सच भी हैं,
दिल में रह जाए तो कसक भी हैं,
कभी ये हर भी हैं जीत भी हैं,

दोस्ती साज भी हैं संगीत भी हैं,
शेर भी नमाज़ भी गीत भी हैं,
वफ़ा क्या हैं वफ़ा भी दोस्ती हैं,
दिल से निकली दुआ भी दोस्ती हैं,

बस इतना समझ ले तू
एक अनमोल हिरा हैं दोस्ती।

दोस्ती किस तरह निभाते हैं / कविता किरण

दोस्ती किस तरह निभाते हैं,
मेरे दुश्मन मुझे सिखाते हैं।

नापना चाहते हैं दरिया को,
वो जो बरसात में नहाते हैं।

ख़ुद से नज़रें मिला नही पाते,
वो मुझे जब भी आजमाते हैं।

ज़िन्दगी क्या डराएगी उनको,
मौत का जश्न जो मनाते हैं।

ख़्वाब भूले हैं रास्ता दिन में,
रात जाने कहाँ बिताते हैं।

Hindi Love Poem for Friendship-स्कूल का वो दिन

स्कूल का वो दिन याद है,
हम साईकल से आया करते थे।
तेरी गोभी सब्जी वाली टिफिन को,
दोनो मिलकर खाया करते थे।

मैं बहुत पतला था और
तू थोड़ी मोटी थी।
इसी बात पर तेरी मेरी,
बहुत लड़ाई होती थी।

वो पहला दिन याद कर,
जब तू अकेली आयी थी।
न जाने कितनी सवालो से,
मैंने बहुत दिमाग खायी थी।

सब टॉपर टॉपर कहते थे यार,
मुझे बहुत जलन होता था।
तुझे मात कैसे दु सोच,
मैं पूरी रात न सोता था।

पर तुमसे लड़ाई करना,
बहुत अच्छा लगता था।
तू इतनी मोटी थी कि,
मैं बच्चा लगता था।

हद तो तब हो गयी,
जब पिकनिक पर गए थे।
वह भी तूने टिफिन में,
गोभी की सब्जी ले गए थे।

जानता हूं ये पड़कर ,
तू बहुत हँस रही होगी ।
पर तेरी गोल वाली चहेरे पर,
वो हँसी जच रही होगी।

पर यार पायल …..
मुझे याद नही कौन सी बात,
हमे अच्छे दोस्त बना गयी।
आज कुछ तस्वीरें देखते ,
मुझे स्कूल की याद आ गयी।
।।गीतेश नागेंद्र।।

Hindi Poem on Friendship - दोस्ती

कभी समंदर तो कभी आसमाँ है दोस्ती,
आज़ाद परिंदों की जान है दोस्ती।

कभी लहरों में फसे नाविक को,
बचा लेती दोस्ती।

कभी ख्वाबों को देकर पंख,
उचाईयां छू लेती दोस्ती।

प्यार का समुंदर है दोस्ती,
जिसमें दुःखों के आँसू छिप जाते है।

ख़ुशियों का पिटारा है दोस्ती,
जिसमें मुस्कुराहट के मोती बिखर जाते है।

कभी समंदर तो कभी आसमाँ है दोस्ती,
प्यार भरे रिश्ते का एक नाम है दोस्ती।
- Nidhi Agarwal

Hindi Poem on Dosti - दोस्ती पर कविता - सच्चा मित्र

मित्र वही है सच्चा,
जो बुरे वक़्त में काम आए।
देकर किनारा जीवन की नैया को,
उसे डूबने से बचाए।

मित्र वही है सच्चा,
जो सत्य का मार्ग दिखाए।
अँधियारे पथ पर जीवन के,
हरदम आशा के दीप जलाए।

मित्र वही है सच्चा,
जो हर पल ही मुस्कुराए।
जीवन की बगिया में हरदम,
ख़ुशियों के फूल खिलाए।

मित्र वही है सच्चा,
जो निराशा को दूर भगाए।
देकर नई आशाएं जीवन में,
उम्मीद की किरण जगाए।

मित्र वही है सच्चा,
जो कभी नही घबराएं।
मजबूत इरादों से हरदम वो,
मित्रता का मान बढ़ाए।
- Nidhi Agarwal
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