राज्यसभा चुनाव लड़ने वाले सदस्य के पास निम्नलिखित योग्यताएं होनी चाहिए -
- उम्मीदवार को भारत का नागरिक होना चाहिए।
- उन्होंने अपने देश के नागरिक होने और संविधान के प्रति निष्ठावान होने के लिए चुनाव आयोग द्वारा अधिकृत व्यक्ति की उपस्थिति में अनुसूची III में निर्धारित किया।
- उन्होंने 30 वर्ष की आयु प्राप्त की है।
- इसमें संसद द्वारा निर्दिष्ट अन्य योग्यताएं हो।
- वह पागल या दिवालिया नहीं होना चाहिए, केंद्र या राज्य सरकारों की किसी भी उपयोगी स्थिति में काम नहीं करता हो।
- संसद के किसी भी कानून या न्यायपालिका द्वारा राज्यसभा का सदस्य बनने के लिए आयोग्य घोषित ना किया गया नहीं हो।
- किसी भी राज्य का व्यक्ति भारत के किसी भी हिस्से से राज्यसभा का चुनाव लड़ सकता है। 2003 से पहले, जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951, में यह निश्चित किया गया था कि राज्यसभा चुनाव लड़ने वाला व्यक्ति कम से कम पिछले छह महीने से राज्य में रह रहा हो, जिस राज्य से वह राज्य सभा के लिए वह चुनाव लडना चाहता है। लेकिन, 2003 में, संसद के इस अधिनियम में संशोधन किया और प्रणाली को समाप्त कर दिया। इस व्यवस्था की समाप्ति के साथ, किसी भी राज्य में रहने वाला एक भारतीय नागरिक किसी भी राज्य से राज्यसभा चुनाव लङ सकता है।
- किसी सदस्य की योग्यता के बारे में संदेह की स्थिति में, राष्ट्रपति इसका निर्णय करता है और वह निर्णय अंतिम होता है। ऐसा निर्णय लेने से पहले, राष्ट्रपति चुनाव आयोग की सलाह के अनुसार और उस आयोग की सलाह के अनुसार ही निर्णय करता है।
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